बुधवार, 16 अप्रैल 2014

झूठ बोल कर हम कुछ वक़्त के लिए दूसरे को धोखा दे सकते हैं, लेकिन ख़ुद को नहीं | किसी की सहानुभूति पाने के लिए भी हमें एक दायरे में रह कर ही झूठ बोलना चाहिए, ताकि बाद में माफ़ी मिल जाए | ना की सामने वाले को बेवकूफ समझ कर कुछ भी अनाप-सनाप बकते रहें |

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